यूपी में मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर पर हो रहा तेजी से कार्य
प्रदेशवासियों को बेहतर चिकित्सीय सुविधाओं देने के लिए प्रतिबद्ध योगी सरकार ने अपने पिछले साढ़े चार साल के कार्यकाल में जरूरतमंद परिवारों को सीधे तौर पर लाभ दिया है। कोरोना संक्रमण पर लगाम लगाने वाली प्रदेश सरकार ने यूपी में चिकित्सीय सुविधाओं का तेजी से विस्तार किया है। आयुष्मान योजना के तहत योगी सरकार ने लाखों की संख्या में गरीब परिवारों को लाभान्वित किया है।
आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत अब तक प्रदेश के लगभग छह करोड़ 25 लाख से अधिक लाभार्थियों को लाभ दिया जा चुका है वहीं एक करोड़ 44 लाख से अधिक लोगों को आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना का गोल्डेन कार्ड जारी किया जा चुका है।
मुख्यमंत्री जन आरोग्य अभियान के जरिए जरूरतमंद परिवारों को चिकित्सीय सुविधा दी जा रही है। इस योजना से 42.19 लाख पात्र लाभार्थियों को 5 लाख रुपए तक सूचीबद्ध चिकित्सालयों में इलाज कराने की व्यवस्था की गई है। प्रदेश के गरीब परिवारों के लिए अमृत बनी इस योजना से नए लाभार्थियों को जोड़ा जाएगा। जिससे इन परिवारों को राज्य सरकार की इन स्वर्णिम योजना का लाभ मिल सके। प्रदेश में 25 सितंबर को गरीब कल्याण मेले का आयोजन किया जाएगा। इस योजना से नए लोगों को आयुष्मान योजना से जोड़ा जाएगा।
प्रदेश में चिकित्सीय सुविधाओं में इजाफा करने वाली योगी सरकार प्रदेशवासियों के बेहतर इलाज के लिए प्रतिबद्ध है। प्रदेश सरकार मेडिकल इंफ्रास्टक्चर पर तेजी से काम कर रही है। 24 करोड़ की आबादी वाले यूपी में 75 जनपदों में ‘वन डिस्ट्रिक वन मेडिकल कॉलेज’ के तहत कार्य किया जा रहा है। सभी जनपदों में मेडिकल कॉलेज की स्थापना का कार्य तेजी से किया जा रहा है।
प्रदेश में ऐसे 16 जिले जहां अभी तक एक भी मेडिकल कॉलेज नहीं है, वहां अब पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप ( पीपीपी) मॉडल पर मेडिकल कॉलेज बनाए जाएंगे। इनके संचालन के बाद यूपी के हर जिले में एक-एक मेडिकल कॉलेज होगा। जिसके संचालन से प्रदेशवासियों को ढेर सारी सहूलियतें मिलेंगी। अब लोगों को इलाज के लिए दूसरे जिलों में दौड़ नहीं लगानी पड़ेगी।
16 पीपीपी मॉडल पर बनने वाले मेडिकल कॉलेजों पर जल्द लगाएगी कैबिनेट मुहर
बागपत, बलिया, भदोही, चित्रकूट, हमीरपुर, हाथरस, कासगंज, महाराजगंज महोबा, मैनपुरी, मऊ, रामपुर, संभल, संत कबीर नगर, शामली व श्रावस्ती में पीपीपी मॉडल पर मेडिकल कॉलेजों को निर्माण किया जाना है। प्रदेश में बनने वाले इन पीपीपी मॉडल पर तैयार होने वाले इन मेडिकल कॉलेजों पर जल्द ही कैबिनेट मुहर लगाएगी। बता दें कि निजी क्षेत्र इन मेडिकल कॉलेजों करीब 50 प्रतिशत बेड पर सरकारी मेडिकल कॉलेजों की तर्ज पर इलाज की सुविधा होगी।
पंजीकृत श्रमिकों व उनके परिजनों के बनेंगे गोल्डन हेल्थ कार्ड
प्रदेश सरकार सभी पंजीकृत श्रमिकों और उनके परिवार के सदस्यों के गोल्डन हेल्थ कार्ड बनाने की तैयारी है। श्रम विभाग की ओर से 12 सितंबर तक विशेष अभियान चलाकर विभाग के कार्यालय एवं ब्लाकों पर शिविर लगाकर गोल्डन कार्ड बनाए जाएंगे।