अखिलेश ने आजम खान को अकेला छोड़ा- कांग्रेस
करीब 88 मुकदमे झेल रहे आज़म खान इन दिनों सीतापुर की जेल में सपरिवार बन्द है। लेकिन उत्तर प्रदेश की सियासत में उनका कद कम नही हुआ है। कांग्रेस ने समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव पर आज़म खान से किनारा करने का आरोप लगाया है।
दरअसल, आजम खान के बहनोई जमीर खान के इस बयान पर कि आजम खान ने उनसे मुलाकात में कहा है कि सपा ने इस बुरे दौर में उनसे किनारा कस लिया है, कांग्रेस ने अखिलेश यादव से स्पष्टीकरण मांगा है।
कांग्रेस अल्पसंख्यक विभाग के प्रदेश चेयरमैन शाहनवाज आलम ने जारी बयान में कहा कि आजम खान ने अपने साले जमीर खान से सपा द्वारा किनाराकशी की जो बात कही है उससे मुस्लिम समाज पहले से वाकिफ था। आज आजम खान ने मुसलमानों के दिल की बात कह दी है।
शाहनवाज आलम ने कहा कि आजम खान ने सपा की जिस तरह पिछले 3 दशक से सेवा की वैसी किसी दूसरे सपा नेता ने नहीं की लेकिन सपा ने आज योगी सरकार द्वारा साम्प्रदायिक द्वेष के कारण फर्जी मुकदमों में जेल भेज दिए जाने के बावजूद उनको अकेला छोड़ दिया है जो सिर्फ दुखद ही नहीं बल्कि मुसलमानों के साथ धोखा है।
शाहनवाज आलम ने कहा कि आजम खान को 30 साल की सेवा का ऐसा इनाम देकर सपा ने साफ कर दिया है कि वो मुसलमानों से केवल वोट लेना जानती है उनके साथ खड़ा होना नहीं जानती। उन्होंने कहा कि मुसलमानों को समझ लेना चाहिए कि जब सपा आजम खान जैसे अपने बड़े नेताओं के साथ नहीं खड़ी हो सकती तो वो फर्जी मुकदमों में फंसाये जाने वाले आम मुसलमानों के साथ कैसे खड़ी हो सकती है।
उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि सपा ने अब तय कर लिया है उसे भविष्य में खुल कर हिंदुत्व की सेवा करनी है। इसीलिए आजम खान मामले से किनाराकशी करने से पहले अखिलेश यादव अपने संसदीय क्षेत्र आजमगढ़ की बिलरियागंज की मुस्लिम महिलाओं के बीच भी अपनी मुस्लिम विरोधी मानसिकता के कारण नहीं गए जिन पर योगी की पुलिस ने नागरिकता संशोधन कानून का विरोध करने पर बर्बर दमन किया था।